मत्स्य निरीक्षकों की शैक्षणिक अहर्ता का विरोध किया।
देहरादून मत्स्य विभाग द्वारा मत्स्य निरीक्षकों के पदों पर हाल ही में किये जा रहे सँशोधन का सूबे के बेरोजगारों ने पुरजोर विरोध किया है।बेरोजगारों ने सरकार पर उत्पीड़न करने का आरोप लगाया है।पर्वतीय क्षेत्र के महाविधालयों में बी एस सी,एम एस सी,जन्तु विज्ञान,बनस्पति विज्ञान,में शिक्षित बेरोजगारों को नयी शैक्षणिक अहर्ता से भारी नुकसान हो रहा है।पर्वतीय क्षेत्रों में मत्स्य विज्ञान से बी एस सी,एम एस ,सी,पाठ्यक्रम मौजूद नहीं है।सूबे में एक मात्र पँतनगर विस्वविधालय में ही यह पाठ्य क्रम मौजूद है।जिसे सभी क्षेत्रों के बेरोजगार नौजवानों को करना सँभव नहीं है।उत्तराखँड शासन की अधिसूचना सँख्या878 दि022-11-2021को भर्ती सेवा नियमावली में उपरोक्त विषयों को दरकिनार कर दिया गया है और मात्स्यकी विज्ञान में स्नातक उपाधि धारकों(बी,एफ,एस,सी)वालों को ही अनिवार्य कर दिया गया है।जिसका बेरोजगार शिक्षितों ने विरोध किया साथ ही सरकार से माँग की है।तत्काल इस अहर्ता को समाप्त कर दिया जाय,जिससे प्रदेश के नौजवान रोजगार से वँचित न हों।बेरोजगार सँघ के पूर्व अध्यक्ष कमल रतूडी़ ने इसे सरकार की रोजगार विरोधी नीति कहा है।