संघ ने उठाई कर्मचारियों को बहाल करने की मांग
तो फिर क्या ये मात्र दिखावा था सरकार का या सरकार दबाव में आयेगी यह भी होगा विषय
मामला लक्ष्मणझूला दुगड्डा-मैदावन-हल्दूखाल मोटर मार्ग के प्रीमिक्स कारपेट कार्य का
कोटद्वार। लक्ष्मणझूला दुगड्डा-मैदावन-हल्दूखाल मोटर मार्ग के मामले में हुए वीडियो वायरल के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की ओर से कर्मचारियों के किए गए निलंबन के बाद पर्वतीय ठेकेदार संघ नाराज हो गया है। उन्होंने सीएम से निलंबित किए कर्मचारियों को बहाल करने की मांग की है। संघ की आयोजित बैठक में वक्ताओं ने कहा कि लक्ष्मणझूला दुगड्डा-मैदावन-हल्दूखाल मोटर मार्ग मामले में कर्मचारियों पर सीएम की ओर से बिना तकनीकी जांच के कार्यवाही की गई है। उक्त मोटर मार्ग पर प्रतिकूृल परिस्थितियों में ठेकेदार की ओर से कार्य किया जाता है। कहा कि शासन ने वायरल वीडियो को आधार मानते हुए बिना जांच के कर्मचारियों को निलंबित कर दिया। निलंबन की इस कार्यवाही पर शासन को पुन: जांच कर कर्मचारियों को बहाल किया जाए। जिससे कार्यों की त्रुटियों में सुधार लाया जा सके। कहा कि शासन उक्त पूरे प्रकरण की जांच कराये, यदि जांच ठेकेदार और विभाग के पक्ष में आती है, तो वीडियो वायरल करने वाले देवेश आदमी के खिलाफ कार्यवाही अमल में लाई जाए। इस मौके पर विजय ध्यानी, किशोर लखेड़ा, बीना जखमोला, राकेश बहुखंडी, प्रकाश भारद्वाज, अजय कुकरेती, दिनेश रावत (उस ठेके का ठेकेदार) अनुज भट्ट, भास्कर बड़थ्वाल, देवेंद्र पाल सिंह नेगी (बड़खेत) विनयपाल नेगी (जिला पंचायत कर्तिया) विनोद रावत, जयप्रकाश रावत, विनोद गौड़, इंद्रमोहन रावत, राजेंद्र असवाल, विकास माहेश्वरी, असलम अली, कपिल कुमार आदि मौजूद थे।